पंजीकरण और यात्रा:
- सभी राज्यों और केंद्र शासित क्षेत्रों को, फंसे हुए प्रवासी मजदूरों की 15 दिनों के अंदर पहचान करके, ट्रेन / बस / किसी अन्य यातायात के माध्यम से, 24 जून तक उनके राज्यों तक वापसी सुनिश्चित करनी होगी।
- पंजीकरण की प्रक्रिया सरल और विकेंद्रीकृत की जाए। पुलिस स्टेशनों और अन्य स्थानीय प्रशासनिक कार्यालयों कोइसके लिए उपलब्ध किया जाए |
- ट्रेन और बस यातायात की जानकारी को सार्वजनिक स्तर पर स्थानीय अख़बारों और टीवी के मध्यम से प्रसारित किया जाए।
- रेल प्रशासन 24 घंटे के अन्दर श्रमिक ट्रेनों का प्रबंध करे जिससे कि प्रवासी मजदूर वापस जा सकें।
- राज्य सरकार ऐसे मजदूरों की यात्रा का भी प्रबंध करे जो अपने काम के राज्यों में वापस जाना चाहते हैं और इसके लिए उचित जानकारी उपलब्ध की जाए और रेलवे तथा सड़क यातायात प्राधिकारी सहायता डेस्क स्थापित करें।
प्रवासी सहयोग: योजनाएं और रोज़गार
- केंद्र सरकार उन सभी योजनाओं की जानकारी उपलब्ध करवाएगी जिनका लाभ अपने ‘मूल – राज्य’ वापिस लौटे प्रवासी मजदूर उठा सकते हैं। सभी राज्य और केंद्र शासित क्षेत्र भी प्रवासी मजदूरों को लाभ देने वाली रोज़गार एवं अन्य योजनाओं की जानकारी उपलब्ध करवाएंगे।
- राज्य सरकार तहसील / प्रखंड तथा ज़िला स्तर पर परामर्श / काउन्सलिंग केंद्र और सहायता डेस्क स्थापित करेगा जहाँ से सभी सरकारी योजनाओं और रोज़गार अवसर की विस्तृत जानकारी उपलब्ध करवाई जाएगी।
- अपने ‘मूल – राज्य / घर’ वापस गये सभी प्रवासी मजदूरों की विस्तृत जानकारी प्रबंधित रखी जाएगी, जिसमें उनके कौशल और रोज़गार, पिछली काम की जगह की जानकारी शामिल हो, और यह जानकारी गाँव-वार, प्रखंड-वार और ज़िला-वार फॉर्मेट में रखी जाए जिससे कि वे विभिन्न योजनाओं का लाभ उठा सकें।
अन्य पहलू:
- राज्य सरकारों को लॉकडाउन के दौरान प्रवासी मजदूरों पर लगाये गए आपदा प्रबंधन अधिनियम की धारा 51 और अन्य संबंधित कानूनों के अंतर्गत दर्ज किये गए मामले वापस लेने पर विचार करना चाहिए।
- पुलिस के सभी महानिदेशक और पुलिस कमिश्नर ऐसे ज़रूरी निर्देश जारी कर सकते हैं कि प्रताड़ित प्रवासी मजदूरों के साथ मानवीय व्यवहार किया जाए।
- राज्य सरकारें योजनाओं और लाभों के क्रियान्वयन तथा अफसरों और स्टाफ की कार्यवाही पर कड़ी सतर्कता और निगरानी रखें और जहाँ ज़रुरत हो वहां उचित कार्यवाही की जाए।
- 24 जून से पहले, केंद्र और राज्य तथा केंद्र शासित क्षेत्रों की सरकारों को 9 जून को जारी किये गए आदेश के अंतर्गत अनिवार्यतः अतिरिक्त शपथ-पत्र दर्ज करने होंगे, जिसमें प्रवासी मजदूरों के लिए विभिन्न योजनाओं की जानकारी शामिल हो। अगली सुनवाई 8 जुलाई को होगी।
- 28 मई को जारी किये गए सभी आदेशों को लागू किया जाए।